-पुस्तक अंक बोलते हैं
-लेखक डॉ० उमेश पुरी जी
-प्रकाशक रणधीर प्रकासन हरिद्वार
-पृष्ठसंख्या 124
-मूल्य 150/-
संख्याएं बोलती हैं, और किसी को इसे सुनना चाहिए, अन्यथा चीजें जटिल हो सकती हैं।
"अंक बोलते हैं" हमें सिखाता है कि कैसे नंबर गेम की पहचान की जाए ताकि कोई भी विभिन्न परिस्थितियों में जीत सके। यदि हम संख्याओं के महत्व, हमारे जीवन के विभिन्न पहलुओं पर इसके प्रभाव और कठिनाइयों को दूर करने के तरीके को समझ सकें तो हम अपने जीवन को थोड़ा आसान बना सकते हैं, और यही यह पुस्तक हमें "संख्याओं" के बारे में विस्तार से बताती है। बहुत आसान और प्रभावी तरीका। कुल मिलाकर संख्याओं की बेहतर समझ के माध्यम से विभिन्न स्थितियों से निपटा जा सकता है।
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